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MP News : बाघिन मीरा ने रात में दिया तीन शावकों को जन्म ,चीता गामिनी के 5 शावकों में से 1 की मौत

MP News : बाघिन मीरा ने रात में दिया तीन शावकों को जन्म ,चीता गामिनी के 5 शावकों में से 1 की मौत

श्योपुर। जिले में स्थित कूनो नेशनल पार्क से सोमवार को एक बार फिर से बुरी खबर आई है। इस बार मादा चीता गामिनी के एक शावक की मौत हुई है। रीढ़ की हड्डी में फ्रैक्चर होने की वजह से यह शावक गंभीर रूप से घायल हो गया था, जिसने उपचार के दौरान सोमवार को दम तोड़ दिया। कूनो नेशनल पार्क के अधिकारियों ने सोमवार की रात 8:30 बजे प्रेस नोट जारी करके इसकी पुष्टि की है।

 जानकारी के अनुसार, मादा चीता गामिनी अपने पांच शावकों के साथ कूनो के बाड़े में रह रही थी। 29 जुलाई को वन विभाग का मैदानी अमला जब गश्त करने के लिए गामिनी के आसपास पहुंचा तो पांच में से चार शावक तो स्वस्थ थे। लेकिन एक ठीक से उठ नहीं पा रहा था। कुछ देर बाद वह दो पैरों पर चलने लगा। लेकिन उसका पिछला हिस्सा जमीन पर घसीटते हुए वह आगे बढ़ रहा था, जिसे तत्काल रेस्क्यू करके उपचार शुरू किया। लेकिन सोमवार को उसकी मौत हो गई।

यहां के चिडि़याघर में बाघिन मीरा ने रविवार रात में तीन शावकों को जन्म दिया है। इनमें शावकों में दो का रंग सफेद है और एक का रंग पीला है। चिडि़याघर प्रबंधन के मुताबिक तीनों ही शावक व बाघिन मीरा स्वस्थ्य हैं। बता दें कि चिडि़याघर की ही बाघिन दुर्गा ने 28 जून को 3 शावकों काे जन्म दिया था। दुर्गा के शावकों का दीदार भी सोमवार से ही सैलानियों ने करना शुरू किया है। ऐसे में ग्वालियर चिडि़याघर में खुशी दोगुनी हो गई है। खासबात यह है कि दो महीने के भीतर ही चिडि़या घर की दो बाघिनों ने शावकों को जन्म दिया है और सभी स्वस्थ्य हैं। सीएम डॉ. मोहन यादव ने एक्स पर लिखा  नए मेहमानों के आने से हम मध्यप्रदेशवासी आनंदित एवं हर्षित हैं। बाघों का कुनबा निरंतर बढ़ता रहे और टाइगर स्टेट के सम्मान से मध्यप्रदेश सर्वदा गौरवान्वित होता रहे, यही शुभेच्छा।

चीता गामिनी के 5 शावकों में से 1 की मौत 

श्योपुर  जिले में स्थित कूनो नेशनल पार्क से सोमवार को एक बार फिर से बुरी खबर आई है। इस बार मादा चीता गामिनी के एक शावक की मौत हुई है। रीढ़ की हड्डी में फ्रैक्चर होने की वजह से यह शावक गंभीर रूप से घायल हो गया था, जिसने उपचार के दौरान सोमवार को दम तोड़ दिया। कूनो नेशनल पार्क के अधिकारियों ने सोमवार की रात 8:30 बजे प्रेस नोट जारी करके इसकी पुष्टि की है।

 जानकारी के अनुसार, मादा चीता गामिनी अपने पांच शावकों के साथ कूनो के बाड़े में रह रही थी। 29 जुलाई को वन विभाग का मैदानी अमला जब गश्त करने के लिए गामिनी के आसपास पहुंचा तो पांच में से चार शावक तो स्वस्थ थे। लेकिन एक ठीक से उठ नहीं पा रहा था। कुछ देर बाद वह दो पैरों पर चलने लगा। लेकिन उसका पिछला हिस्सा जमीन पर घसीटते हुए वह आगे बढ़ रहा था, जिसे तत्काल रेस्क्यू करके उपचार शुरू किया। लेकिन सोमवार को उसकी मौत हो गई।


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