होम
देश
दुनिया
राज्य
खेल
बिजनेस
मनोरंजन
जरा हटके
सेहत
अध्यात्म
फैशन/लाइफ स्टाइल

 

अतिथि शिक्षक आंदोलन : अतिथि शिक्षकों का हल्लाबोल, अब कर दिया बहिष्कार 

अतिथि शिक्षक आंदोलन : अतिथि शिक्षकों का हल्लाबोल, अब कर दिया बहिष्कार 

अतिथि शिक्षक आंदोलन : मध्यप्रदेश में अपनी मांगों को लेकर बीते लंबे समय से संघर्ष कर रहे अतिथि शिक्षकों ने एक बार फिर हल्ला बोल दिया है। अतिथि शिक्षकों ने अब स्कूलों का बहिष्कार किया है। अतिथियों ने बीते 2 अक्टूबर को हुई लाठी चार्ज और हुई एफआईआर के विरोध में स्कूलों का ​बहिष्कार किया है। नर्मदापुरम जिले में अतिथि शिक्षकों ने रैली निकालकर देश के राष्ट्रपति, प्रधानमंत्री और राज्यपाल के नाम एक ज्ञापन सौपा। 

अतिथि शिक्षकों ने सरकार को चेतावनी देते हुए कहा है कि अगर उनके ​खिलाफ हुई एफआईआर को वापस नहीं लिया गया तो वे पूरे प्रदेश में जेल भरो आंदोलन चलाएंगे। बता दें कि अतिथि शिक्षकों के स्कूल बहिष्कार के चलते हजारों स्कूलों में ताले लटके हुए है। प्रदेश के शासकीय स्कूलों में स्कूल शिक्षा विभाग में 58000 व ट्राइबल में 35000 अतिथि शिक्षक वर्तमान में कार्यरत है। अतिथियों के आंदोलन के चलते स्कूलों में बच्चों की पढ़ाई प्रभावित हो गई है। 

लाठीचार्ज से आहत अतिथि शिक्षक

अतिथि शिक्षक समन्वय समिति के प्रदेश अध्यक्ष सुनील सिंह परिहार ने कहा है कि अतिथि शिक्षक बीते 16 सालों से मध्यप्रदेश की चरमराती शिक्षा व्यवस्था को वर्षों से सुचारू रूप से संचालित कर रहे हैं। जब स्थाई शिक्षकों की कमी थी सुदूर ग्रामीण और वनाचलों में लगभग 60 km दूर जाकर बहुत ही अल्प मानदेय पर सेवाएं देते आ रहे हैं। यदि सीधी भर्ती में बोनस अंक दिए जाते तो 80 प्रतिशत अतिथि शिक्षक स्थाई हो गए होते । 11 सितंबर को स्कूल शिक्षा मंत्री, प्रमुख सचिव स्कूल शिक्षा विभाग और आयुक्त लोक शिक्षण संचालनालय के साथ संयुक्त बैठक में हुए निर्णयों पर भी अमल नहीं किया गया। क्या हम सिर्फ बैठकें करते रहें और आश्वाशन लेते रहें। 

आश्वासन नहीं आदेश चाहिए ...

20 अक्टूबर से पहले आश्वासन नहीं आदेश चाहिए और पदाधिकारियों पर की गई एफआईआर वापस लें। अन्यथा कि स्थिति में ना केवल अतिथि शिक्षक बल्कि प्रदेश के सैकड़ों कर्मचारी संगठन, राजनैतिक पार्टियां , सामाजिक संगठन अतिथि शिक्षकों के लिए सड़क पर उतरेंगे । सभी जिलों में हजारों लोग जिला मुख्यालय पहुंचकर गिरफ्तारियां देंगे । सरकार सबको जेल भेजे कोई भी जमानत अर्जी दाखिल नहीं करेगा । 


संबंधित समाचार