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गोपाल भार्गव : कमलनाथ के बंगले पर आधी रात में क्यों गए गोपाल भार्गव?, अटकले तेज

गोपाल भार्गव : कमलनाथ के बंगले पर आधी रात में क्यों गए गोपाल भार्गव?, अटकले तेज

गोपाल भार्गव : मध्यप्रदेश की राजधानी भोपाल में बीते सोमवार को प्रदेश कांग्रेस ने ​विधानसभा का घेराव किया था। घेराव को लेकर कांग्रेस के वरिष्ट नेता से लेकर प्रदेशभर के कार्यकर्ता भोपाल पहुंचे थे। इस प्रदर्शन में पूर्व सीएम कमलनाथ भी मौजूद रहे। हालांकि प्रशासन ने कांग्रेसियों को विधानसभा तक नही जाने दिया उन्हें रास्ते में ही गिरफ्तार कर लिया, जिसके बाद नेताओं का संबोधन हुआ और शाम होते विरोध प्रदर्शन समाप्त हो गया। इसी बीच प्रदेश की राजनीति में खलबली मचा के रख देने वाली खबर सामने आई। रात के समय बीजेपी के सबसे सीनियर विधायक और पूर्व मंत्री गोपाल भार्गव चुपके से कमलनाथ के बंगले पहुंचे, लेकिन मीडिया को देखकर वे बाहर से ही वापस लौट गए। 

नाथ के बंगले पर गोपाल?

गोपाल भार्गव भले ही कमलनाथ के बंगले के अंदर नहीं गए, लेकिन उनका रात के समय चुपके से कमलनाथ के बंगले पर जाना किसी के गले नहीं उतर रहा है। माना जा रहा है कि कमलनाथ ने कांग्रेस विधायकों की डिनर पार्टी रखी थी, शायद गोपाल भार्गव भी इसी डिनर पार्टी में शामिल होने पहुंचे थे, लेकिन मीडिया को देखकर वे बाहर से ही रवाना हो गए। हालांकि भार्गव कमलनाथ के बंगले पर पहुंचे थे, क्यों पहुंचे थे इस​की पूरी तरह से हम पुष्टि नहीं करते है, लेकिन सियासी गलियारों में चर्चा का विषय बना हुआ हैं। सूत्रों की माने तो गोपाल भार्गव की गाड़ी के ड्रायवर की गलती से वे कमलनाथ के बंगले पर पहुंच गए थे, लेकिन सच्चाई क्या है यह तो गोपाल भार्गव या कमलनाथ ही बता सकते है। 

पार्टी से नाराज गोपाल!

आपको बता दें कि गोपाल भार्गव बीजेपी के विधायकों में से सबसे सिनियर विधायक है। वे बीजेपी सरकार में कई बार मंत्री रहे। प्रदेश में मोहन सरकार बनने के बाद से वे साइडलाइन है। मोहन सरकार में उन्हें मंत्री भी नहीं बनाया गया। जिसके चलते वे पार्टी से नाराज चल रहे है। इसके अलावा बुंदेलखंड की राजनीति से गुटबाजी की खबरे आती रही। गोपाल भार्गव की नाराजगी की खबरों के बीच उस समय वे फिर सुर्खियों में आए जब उन्होंने भोपाल में मोहन सरकार के दोनों डिप्टी सीएम से मुलाकात की। इतना ही नहीं भार्गव ने शिक्षा मंत्री उदय प्रताप और मंत्री लखन पटेल से भी मुलाकात की। इसके बाद अब कमलनाथ के बंगले की ओर गोपाल कर रूख करना कई सवालों को जन्म देता है। 


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