भोपाल। प्रदेश में परिवहन विभाग ने बसों के नए अस्थाई परमिट देना एक जनवरी से बंद कर दिया है। इससे कई बसें का संचालन बंद हो गया है। ऐसी बसें जिनके एक, दो, तीन व अधिकतम चार महीनों का परमिट है या जिन बसों की समयावधि समाप्त हो चुकी है, उनका संचालन नहीं हो पा रहा है। मप्र प्राइम रूट बस एसोसिएशन के अध्यक्ष गोविंद शर्मा ने बताया कि इस संबंध में परिवहन विभाग के अधिकारी कुछ भी नहीं बोल रहे हैं। सिर्फ एक कारण पता चल रहा है कि प्रदेश में उप परिवहन आयुक्त की कमी होने से अस्थाई परमिट जारी नहीं किए जा रहे हैं, क्योंकि उप परिवहन आयुक्तों को परमिट जारी करने के अधिकार रहते हैं। वर्ष-2010 से परिवहन विभाग बस मालिकों को एक से चार महीने तक प्रदेश भर में विभिन्न मार्गों पर बसों का संचालन करने के लिए अस्थाई परमिट देता है। वहीं, पर्यटन परमिट भी दिए जाते हैं।
बसों का संचालन नहीं होने से यात्री परेशान
दिसंबर में अस्थाई परमिट के लिए आवेदन दिए गए थे, लेकिन परिवहन विभाग ने आदेश निकाल कर अस्थाई परमिट देना बंद कर दिए। प्रदेश में करीब सवा लाख स्थाई, अस्थाई, पर्यटन परमिटों पर बसों का संचालन हो रहा है। ऐसे में अस्थाई परमिट नहीं मिलने से प्रदेश भर सैकड़ों बसों का संचालन बंद हो गया है। इधर, मप्र सड़क परिवहन निगम कर्मचारी-अधिकारी उत्थान समिति के अध्यक्ष श्यामसुंदर शर्मा ने कहा है कि अस्थाई परमिट नहीं देने से बसों का संचालन नहीं हो रहा है। इससे यात्रियों को परेशानी उठानी पड़ रही है।