TEACHERS DAY SPECIAL : आज देशभर में स्कूल-कॉलेजों में टीचर्स डे मनाया जा रहा है। डॉ सर्वपल्ली राधाकृष्णन ने अपने जीवन के 40 वर्षों से अधिक समय शिक्षण कार्य में लगाया। डॉ सर्वपल्ली राधाकृष्णन का हमेशा से मानना था कि शिक्षा के प्रति सभी को समर्पित रहना चाहिए, निरंतर सीखने की प्रवृत्ति बनी रहनी चाहिए,शिक्षक और छात्र के बीच प्यार और सम्मान का परिचय देने वाला यह दिन भारत के पूर्व राष्ट्रपति डॉ. सर्वपल्ली राधाकृष्णन जयंती के दिन मनाया जाता है। भारत के पूर्व राष्ट्रपति डॉ. सर्वपल्ली राधाकृष्णन (Sarvepalli Radhakrishnan) के जन्मदिन को उनके दोस्त और पूर्व छात्र धूमधाम से मनाना चाहते थे लेकिन जब यह बात सर्वपल्ली कृष्णन को पता चली तो उन्होंने उनसे अपील करते हुए कहा कि आप लोग मेरा जन्मदिन मत मनाओ, अगर इस दिन को मनाना ही है तो शिक्षकों का सम्मान करें। तभी से शिक्षक दिवस की शुरुआत हुई। भारत के पूर्व राष्ट्रपति, विद्वान, दार्शनिक और भारत रत्न से सम्मानित डॉ सर्वपल्ली राधाकृष्णन (Dr Sarvepalli Radhakrishnan) का जन्म 5 सितंबर 1888 को तमिलनाडु के तिरुमला में हुआ था। उन्हीं की याद में इस तारीख को हम टीचर्स डे (Teachers Day) के रूप में सेलिब्रेट करते हैं। और शिक्षकों के सम्मान में हर साल 5 सितंबर को टीचर्स डे के रूप में मनाया जाता है। इस दिन हर स्टूडेंट अपने टीचर्स को उनके गाइडेंस, मेहनत और प्यार के लिए थैंक यू बोलते हैं।
क्या करना चाहिए शिक्षक दिवस पर
बच्चों में क्रिएटिविटी बढ़ाने के लिए उन्हें शिक्षक दिवस के मौके पर स्कूल या कॉलेज के स्टेज पर अपने टीचर के लिए कविता या स्पीच बोलकर अपने भाव व्यक्त करने के लिए कहें। ऐसा करने से उनकी कम्युनिकेशन और प्रेजेंटेशन स्किल्स बढ़ेगी।
बच्चों को टीचर्स डे के दिन गुरु द्रोण से लेकर डॉ. राधाकृष्णन तक हुए महान टीचर्स की कहानियां बतानी चाहिए। उनकी कहानियां बच्चों के लिए मोटीवेशन का काम करेंगी।-बच्चे को अपने टीचर के लिए वीडियो, फोटो, थैंक्यू कार्ड या फिर हैंड मेड कार्ड बनाकर टीचर को देने के लिए कहें, ऐसा करने से बच्चे की क्रिएटिविटी बढ़ेगी