भोपाल। एम्स भोपाल के आयुष विभाग में बवासीर, फिस्टुला, फिशर और पाइलोनिडल साइनस जैसी समस्याओं के लिए आयुर्वेद ओपीडी में क्षार सूत्र पद्धति से उपचार किया जा रहा है। यह उपचार अब विदेशों तक में प्रसिद्ध हो रहा है, जिससे एम्स भोपाल अंतरराष्ट्रीय स्तर तक अपनी पहचान बना रहा है। हाल ही में जर्मनी से आई 32 वर्षीय एक महिला का क्षार सूत्र पद्धति से फिस्टुला का सफल इलाज किया गया। इससे पूर्व इस महिला ने जर्मनी में दो बार आपरेशन भी करवाया, लेकिन वो पूरी तरह से ठीक नहीं हो सकीं। लम्बे समय तक ठीक न होने के बाद इलाज के अन्य तरीकों को तलाशते हुए वो भारत आई और उसकी यह तलाश एम्स भोपाल के आयुष विभाग में आकर पूरी हुई।
मैं अपना आभार व्यक्त करती हूं
अपने इलाज का अनुभव बताते हुए मरीज ने कहा फिस्टुला का इलाज क्षार सूत्र विधि द्वारा केवल भारत में ही किया जाता है। यहां एम्स भोपाल में बेहतर इलाज मिलने पर मैं अपना आभार व्यक्त करती हूं। क्षार सूत्र विधि द्वारा इलाज में समय जरूर लगता है, लेकिन इसमें इलाज के अन्य तरीकों की तुलना में तकलीफ भी नहीं होती। लगभग पांच माह तक चले इलाज के बाद अब मैं पूरी तरह से ठीक हो कर अपने देश वापस जा रही हूं।